घायल हाथी पहुंचा धंसकामुड़ा, कुदमुरा रेंज में मौजूद हाथियों ने भी किया पड़ोसी जिले का रूख

The injured elephant reached Dhanskamuda, the elephants present in Kudmura range also headed towards the neighbouring district

कोरबा,02जनवरी 2025 । वनमंडल कोरबा के करतला वन परिक्षेत्र में विचरण के दौरान गड्ढे में गिरकर घायल हुए हाथी अब पड़ोसी रायगढ़ जिले के छाल रेंज में स्थित धंसकामुड़ा गांव का जंगल पहुंच गया है जो कोरबा जिला व करतला रेंज की सीमा से लगा हुआ है। घायल हाथी का लोकेशन आज सुबह यहां मिलने पर वन विभाग के अधिकारियों एवं कर्मचारियों ने राहत की सांस ली है। वहीं कुदमुरा रेंज में सक्रिय हाथियों का दल भी अब फतेहपुर के रास्ते धरमजयगढ़ का रूख कर लिया है।

मिली जानकारी के अनुसार घायल हाथी उपचार के बाद अब लगभग स्वस्थ हो गया है। उसके स्वास्थ्य में सुधार होने के बाद वह जंगल ही जंगल होते हुए अब करतला रेंज की सीमा को पार कर लिया है और छाल रेंज के धंसकामुड़ा जंगल में पहुंचने के साथ विश्राम करने लगा है। जिसका लोकेशन कैमरे में कैद होने के बाद वन विभाग के अधिकारियों एवं कर्मचारियों ने राहत महसूस की है। इससे पहले घायल हाथी उपचार के बाद बड़मार व आसपास के जंगलों में विचरण कर रहा था और ज्यादा दूरी नहीं तय कर पाने के कारण क्षेत्र में ही जमा हुआ था। कुछ दिन पूर्व घायल हाथी का लोकेशन नहीं मिलने पर वन विभाग की चिंता बढ़ गई थी। हालांकि अधिकारियों द्वारा घायल हाथी के अन्यत्र जाने की संभावना जताई जा रही थी। इसका लोकेशन ट्रेस करने के लिए अधिकारी लगातार लगे हुए थे। आज सुबह घायल हाथी का लोकेशन धंसकामुड़ा जंगल में विश्राम करते हुए मिला। उधर कुदमुरा वन परिक्षेत्र में भी 26 हाथी गीतकुंआरी व एलोन के जंगल में लगातार विचरण कर रहे थे। हाथियों के क्षेत्र में लगातार बने रहने से ग्रामीणों को खतरा बना हुआ था। जिससे निपटने के लिए वन विभाग के अधिकारी व कर्मचारी लगातार सतर्क थे तथा हाथियों पर निगरानी रखने के साथ गांव में मुनादी कराकर ग्रामीणों को सावधान करने में लगे हुए थे। बताया जाता है कि हाथियों के इस दल ने भी धरमजयगढ़ का रूख कर लिया है।

वन विभाग के अधिकारियों के मुताबिक गीतकुंआरी व एलोन में घूम रहे हाथियों के दोनों दल बीती रात एलोन जंगल एक साथ मिल गए और मूव्हमेंट करने के साथ आगे का रूख करते हुए फतेहपुर के रास्त धरमजयगढ़ वनमंडल की सीमा में पहुंचकर वहां विचरण करने लगे। हाथियों के मूव्हमेंट के दौरान वन विभाग का अमला लगातार निगरानी करता रहा। हाथियों ने जैसे ही कुदमुरा रेंज की सीमा को पार किया। संबंधित अमले को इसकी जानकारी देने के बाद वापस लौट गए। बड़ी संख्या में मौजूद हाथियों के अन्यत्र जाने से वन विभाग के साथ-साथ कुदमुरा क्षेत्र के ग्रामीणों ने भी राहत की सांस ली है जहां कोरबा वनमंडल में सक्रिय हाथियों ने पड़ोसी जिले का रूख कर लिया है वहीं कटघोरा वनमंडल के केंदई, जटगा व पसान क्षेत्र में अभी भी बड़ी संख्या में हाथी मौजूद हैं, जो लगातार उत्पात मचाने के साथ ही ग्रामीणों के मकान व फसल को क्षति पहुंचा रहे हैं। हाथियों के उत्पात से ग्रामीण परेशान हैं।